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डिजिटल डेस्क, लखनऊ। लखनऊ विश्वविद्यालय (एलयू) के छात्र अब कक्षा में शिक्षकों के कौशल, नियमितता और समय की पाबंदी के बारे में फिक्र करेंगे। एलयू के चांसलर आलोक कुमार राय ने कहा, यह प्रोफेसर एक मजबूत प्रणाली होगी, जिसमें छात्रों की पहचान सुरक्षित रहेगी। वर्तमान समय में कक्षा में शिक्षकों के प्रदर्शन के लिए कोई प्रणाली नहीं है। नई प्रणाली यह पता लगाने में मदद करती है कि आपके शिक्षक अपने छात्रों के बारे में क्या महसूस करते हैं।
उन्होंने अलग-अलग मंडलों के सभी डीन से अपनी संस्था की अलग-अलग भूमिकाओं में गतिविधियों की निगरानी करने का आग्रह किया। उन्होंने उन्हें प्रत्येक विभाग में एक उचित समय-सारणी सुनिश्चित करने का निर्देश दिया। उन्होंने यह भी कहा कि सभी डीन को अपने अनुबंध के विभिन्न जोड़ों के शोधार्थियों के साथ बातचीत करने के लिए केवल एक घंटे का समय देना चाहिए।
प्रोफेसर राय ने विभागीय समय सारिणी से संबंधित डीन के साथ उचित क्रेडिट के साथ साझा करने और प्रत्येक भर्ती सदस्य के शिक्षण भार का उल्लेख करने का निर्देश दिया है। उन्होंने कहा कि विभागीय स्पष्ट-सफाई सुनिश्चित करें और पूर्व छात्रों को सक्रिय करने पर ध्यान दें।
प्रोफेसर राय ने निदेशक, संस्कृति और लखनऊ विश्वविद्यालय एथलेटिक एसोसिएशन के अध्यक्ष को निर्देश दिया कि वे इंटर कॉलेजिएट कल्चरल फेस्टिवल और इंटर कॉलेजिएट स्पोर्ट्स आयोजित करें, जिसमें विश्वविद्यालय और संबद्ध छात्र भाग ले सकते हैं। इस बीच लखनऊ विश्वविद्यालय के जल्द ही अयोध्या में छात्र होंगे। भीड़ प्रबंधन के लिए काम करते हुए नजर आती है। वहां दस्तावेजों के माध्यम से छात्रों की भागीदारी सुनिश्चित की जाएगी।
ज़ोस्टरब है कि भारत सरकार के उद्यम रेल इंडिया टेक्निकल एंड इकोनॉमिक सर्विस (आरआईटीईएस) को अयोध्या में भीड़ प्रबंधन पर एक रिपोर्ट तैयार करने के लिए कहा गया है, जिसे राज्य सरकार द्वारा मंदिरों के शहर में लागू किया जाएगा। श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट उन्होंने इस अध्ययन के लिए राइट्स को अनुबंधित किया है।
युक्ति
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