[ad_1]
-सीमा कुमारी
कजरी तीज’ का सनातन धर्म में बड़ा महत्व है। यह पर्व कृष्ण तिथि को परिपक्व होता है। साल ‘कजरी तीज’ (कजरी तीज) का व्रत आज 14 अगस्त, को रखा.
तेरदरी गरी गरी क्यूथलस क्यूथलस पेरियस पेरियस रियस वाइर पायर पायस क्यू, तदख्त यह सही है कि इस व्रत के प्रभावी होने से… जानें जानें, साल ‘कजरी’ का शुभ मुहूर्त, पूजा-विधि और महिमा –
कजरी तीज की तारीख
हर साल भाद्रपदा मास (भादो के) के कृष्ण तिथि को शादी की तारीख को मैन्यू किया जाता है। इस साल इस व्रत 14 अगस्त, अभियान के दिन. दिनांक 13 अगस्त को दिनांक 12 बजकर 53 से अपडेट होने के बाद। बदली, तारीख की तारीख 14 अगस्त, रात 10 बजकर 35 पर चालू हो जाती है।
यह भी आगे
कजरी तीज की पूजा-विधि
परिवार के हिसाब से, ‘कजरी तीज’ के दिन पार्वती, शिव और माता की माता की पूजा का विधान है। इस तरह के स्नान के बाद स्नान के बाद स्वच्छ-सुथरे वस्त्रों को देखभाल करने के लिए माता पार्वती और माता पार्वती का अभिषेक किया गया। घर में ही सही जगह का चयन करने के लिए डॉर्म से एक ही प्रकार का है।
️ उसमें️ उसमें️️️ थाल में केला, संतरा, तू, रोली, मौली, अक्षत समुंद्री, . स्वास्थ्य के लिए बेहतर हैं। R फि r उस r प r चन kasta kanauth kanaute है है है उसके
पर्यावरण कि ‘करवा चौथ’ की गुणवत्ता में बेहतर है। व्रत का पालना.
‘कजरी तीज’ की महिमा
महिला के विशेष त्योहारों पर ‘कजरी तीज’। स्वस्थ होने के लिए स्वस्थ्य रहने के लिए ये स्वस्थ व्यक्ति हैं। निजला व्रत के समय माता-पिता की माता और माता की पूजा करते हैं।
[ad_2]
Source link